- 17/12/2024
‘वन नेशन वन इलेक्शन’ विधेयक सदन में पेश, विपक्ष का विरोध, जेपीसी में भेजने की मांग, ओवैसी बोले- क्षेत्रीय पार्टियोंं को खत्म कर देगा


संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान आज केंद्रीय कानून मंंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने सदन में ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ विधेयक लोकसभा में पेश कर दिया है। विपक्ष ने इस विधेयक का विरोध किया है। विपक्षी दल विधेयक को अलोकतांत्रिक और संविधान विरोधी बता रहा है। सत्ता पक्ष और विपक्ष की तरफ से भी विधेयक को संयुक्त संसदीय समिति को भेजने की मांग की गई है। इससे पहले बीजेपी ने व्हीप जारी कर अपने लोकसभा और राज्यसभा में सांसदों को उपस्थित रहने के लिए कहा था।
वन नेशन वन इलेक्शन पर कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा कि इसका हम विरोध करते हैं। इस बिल के जरिये राष्ट्रपति को ज्यादा शक्ति दी गई है कि वो अब 82 ए के द्वारा विधानसभा को भंग कर सकती है। ये एक्सेसिव पावर राष्ट्रपति के साथ चुनाव आयोग को भी दी गई है। 2014 के चुनाव में 3700 करोड़ खर्च हुआ, इसके लिए ये असंवैधानिक कानून लाए हैं। संविधान में लिखा है कि पांच साल के टर्म से खिलवाड़ नहीं करना चाहिए। नीति आयोग संवैधानिक बॉडी नहीं है, उसकी रिपोर्ट में न जाए। ये पूरे भारत के चुनाव को छीनेंगे तो हम ये नहीं होने देंगे। हम इसका विरोध करते हैं। इस बिल को जेपीसी में भेजा जाए।
एआईएमआईएम नेता असदुद्दीन ओवैसी ने विधेयक का विरोध करते हुए कहा कि यह संविधान के आधारभूत ढांचे के खिलाफ है। यह विधेयक क्षेत्रीय पार्टियों को खत्म कर देगा और इससे सिर्फ राष्ट्रीय पार्टियों को फायदा होगा।